वर्ष 2025 में दिए जाने वाले पद्म विभूषण, पद्म भूषण और पद्म श्री पुरस्कारों के लिए भारत सरकार के गृह मंत्रालय ने योग्य एवं पात्र व्यक्तियों के नामांकन प्रस्ताव मंगाए हैं। इस संबंध में छत्तीसगढ़ सरकार को पत्र भेजा गया है। नामांकन प्रस्ताव 15 सितंबर ऑनलाइन माध्यम से लिए जाएंगे। राज्य सरकार के सामान्य प्रशासन विभाग ने इस संबंध में प्रदेश के सभी कलेक्टरों से कहा है कि पुरस्कार के लिए निर्धारित पात्रता एवं मापदंड के अनुरूप स्पष्ट अनुशंसा सहित जिले के योग्य एवं पात्र व्यक्तियों के नामांकन प्रस्ताव 30 अगस्त तक सामान्य प्रशासन विभाग को भिजवाएं। केंद्र सरकार के गृह विभाग के संयुक्त सचिव द्वारा जारी पत्र में कहा गया है कि पद्म पुरस्कार के लिए नामांकन, सिफारिशें केवल ऑनलाइन राष्ट्रीय पुरस्कार पोर्टल पर स्वीकार की जाएंगी, जिसे इसी उद्देश्य के लिए डिजाइन किया गया है। नामांकन, सिफारिश में अनुशंसित व्यक्ति की उससे संबन्धित क्षेत्र, विषय में विशिष्ट और असाधारण उपलब्धियों। का स्पष्ट उल्लेख करते हुए प्रशस्तिपत्र (अधिकतम 800 शब्द) में दिया जाना चाहिए। योग्य व्यक्तियों की करें तलाश
संयुक्त सचिव ने पत्र में लिखा है, अतीत में देखा गया है कि बड़ी संख्या में व्यक्तियों के संबंध में नामांकन प्राप्त होते हैं, लेकिन असाधारण योगदान के बावजूद कई प्रतिभाशाली व्यक्तियों के नाम पर विचार नहीं किया जाता। ज्यादातर ऐसे लोगों की मुख्य रूप से इस कारण से अनदेखे रहने की संभावना रहती है कि उन्हें अपने सार्वजनिक जीवन में प्रचार या प्रमुखता की आकांक्षा नहीं रहती। इसीलिए, अनुरोध है कि ऐसे व्यक्तियों की पहचान करने के पूरे प्रयास किए जाएं जिनका उत्कृष्ट प्रदर्शन और उपलब्धियां सम्मान योग्य हैं और उनका उपयुक्त नामांकन किया जाए। ऐसे योग्य व्यक्तियों के सम्मान से इन पुरस्कारों की प्रतिष्ठा में वृद्धि होगी।
मनु नायक को अब तक नहीं मिला पद्म सम्मान जबकि वे छत्तीसगढ़ी फिल्मों के पितामह कहलाते हैं ,उन्होंने 1965 में छत्तीसगढ़ कि पहली छत्तीसगढ़ी फिल्म कहीं देबे संदेश का निर्माण किया था । पद्म सम्मान के लिए उन्होंने रमन सिंह की सरकार में भी आवेदन किया था, भूपेश सरकार ने उन्हें किशोर सम्मान दिया है, लेकिन उनका योगदान तो छत्तीसगढ़ सिनेमा के लिए है, इसलिय वो किशोर सम्मान मिलने से खुश नहीं थे हालांकि उनसे जूनियर रहे अनुज शर्मा को ये सम्मान मिल चूका है।