गुरुवार को प्रदेश के दो विश्वविद्यालयों में दो छात्र संगठनों ने अपना विरोध दर्ज करवाया। आचार संहिता लागू होने के कारण छात्रों ने व्यापक पैमाने पर विरोध प्रदर्शन करने स्थान पर शांतिपूर्वक – ज्ञापन सौंपते हुए अपनी समस्याएं गिनवाईं। अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद ने पं.रविशंकर शुक्ल विवि के कुलसचिव की डिग्री और नौकरी – पर सवाल उठाते हुए उच्च शिक्षा मंत्री बृजमोहन अग्रवाल से मुलाकात कर छात्रों ने उन्हें पद से हटाने की मांग की। इधर, एनएसयूआई ने अंजनेय यूनिवर्सिटी पर आरोप लगाया है कि विवि प्रबंधन द्वारा शुल्क ना चुकाए जाने पर छात्रों को परीक्षा में ना बैठने देने की धमकी दी गई है। छात्रों के विरोध के बाद सभी को परीक्षा में बैठने की अनुमति देने की बात अंजनेय विवि प्रबंधन द्वारा कही गई, लेकिन फीस पूर्ण रूप से नहीं भरे जाने तक अंकसूची छात्रों को नहीं दी जाएगी। नरदहा स्थित अंजनेय यूनिवर्सिटी में एनएसयूआई कार्यकर्ताओं ने आगामी ट्यूशन फीस जमा नहीं करने पर छात्र-छात्राओं को परीक्षा से वंचित करने को लेकर प्रदर्शन किया। प्रदर्शन के बाद छात्रों ने विश्वविद्यालय के कुलपति को ज्ञापन सौंपा। प्रदर्शन मे प्रभारी महामंत्री हेमंत पाल, मोनू तिवारी, तारिक खान, विशाल मानिकपुरी, पुनेश्वर लहरे, गावेश साहू, रजत ठाकुर सहित अन्य मौजूद रहे।
फर्जी तरीके से हासिल की डिग्री और नौकरी
अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद ने रविवि के कुलसचिव पर फर्जी तरीके से डिग्री और नौकरी करने का आरोप लगाया है। उच्च शिक्षा मंत्री बृजमोहन अग्रवाल से मुलाकात कर छात्रों ने उन्हें पद से हटाने की मांग की है। एबीवीपी का कहना है, कुलसचिव की योग्यता और अनुभव से संबंधित दस्तावेज चौथी बार जांच में फर्जी पाए गए हैं। प्रदेश मंत्री यज्ञदत्त वर्मा, रायपुर महानगर मंत्री प्रथम राव फुटाने सहित अन्वित दीक्षित, सुजल गुप्ता, योगेश साहू, निखिल तिवारी, अक्षत गोस्वामी व अन्य छात्र इस दौरान मौजूद रहे।