छत्तीसगढ़ के कांकेर लोकसभा क्षेत्र के 4 मतदान केद्रों की ईवीएम मशीनों में गड़बड़ी की शिकायत को चुनाव आयोग ने मंजूर कर लिया है. कांग्रेस प्रत्याशी बीरेश ठाकुर ने ईवीएम में गड़बड़ी की आशंका जताते हुए सुप्रीम कोर्ट के आदेश के तहत आयोग को पत्र भेजा था, जिसे चुनाव आयोग ने मंजूर करते हुए पुनर्गणना का आदेश जारी कर दिया है..
छत्तीसगढ़ के कांकेर जिले में हाल ही में हुए विधानसभा चुनाव में ईवीएम में गड़बड़ी के आरोपों ने बवाल मचा दिया है। कांग्रेस पार्टी के प्रत्याशी बिरेश ठाकुर ने तीन विधानसभा क्षेत्रों के चार बूथों पर चुनावी ईवीएम में गड़बड़ी का आरोप लगाया था। मतगणना के दौरान रीकाउंटिंग करने के बावजूद उन्हें भाजपा के भोजराज नाग से 1884 वोटों से हार जानी पड़ी।
इसके बाद बिरेश ठाकुर ने चुनाव आयोग को पत्र लिखकर ईवीएम में गड़बड़ी की जांच की मांग की। उन्होंने इस मामले में ईवीएम की मेमोरी और माइक्रो कंट्रोलर की जांच की गुहार लगाई। इस शिकायत के परिणामस्वरूप, चुनाव आयोग ने जांच का आदेश दिया है।
अब चुनाव आयोग ने कांकेर लोकसभा के तीन विधानसभा क्षेत्रों संजारी बालोद, गुंडरदेही और सिहावा के चार बूथों पर जांच के आदेश दिए हैं। इसमें संजारी बालोद के दो बूथों और बाकी के एक-एक बूथ पर ईवीएम की जांच होगी। इन बूथों पर एक बार फिर मतगणना होगी ताकि विवादित मामलों की सच्चाई सामने आ सके।
छत्तीसगढ़ में ईवीएम की जांच का यह पहला मामला है और इसके परिणामस्वरूप आने वाले नतीजों का विशेष महत्व होगा। इस जांच से आने वाले नतीजे न केवल चुनावी प्रक्रिया में सुधार का मार्ग दर्शाएंगे, बल्कि राजनीतिक पारिस्थितियों में भी महत्वपूर्ण परिवर्तन ला सकते हैं।
सुप्रीम कोर्ट ने एक जून को आदेश आया था कि अगर आपको किसी ईवीएम मशीन में शक है तो आप पुन: जांच करा सकते है. उसके बाद मैंने 10 जून को आवेदन किया था. जिसे सुप्रीम कोर्ट ने स्वीकार कर लिया है. अब चुनाव आयोग ने भी इसे स्वीकार किया है. अभी तारीख का ऐलान नहीं हुआ है कि कब दोबरा इवीएम के वोटों की गणना होगी”: बीरेश ठाकुर, कांग्रेस प्रत्याशी, कांकेर लोकसभा सीट